ब्रावो बुक ऑफ वर्ल्ड रिकार्ड में दर्ज हुईं आकांक्षा सक्सेना
[प्रसिद्ध ईराकी आर्टिस्ट सालिम मो. आमिड ने ब्लॉगर आकांक्षा सक्सेना की काष्ठ पर अग्निदहन प्रक्रिया से कलाकृति बनायी। बता दें कि इस आर्ट से आकांक्षा सक्सेना का ब्रावो इंटरनेशनल बुक ऑफ वर्ल्ड रिकार्ड में नाम दर्ज हुआ है। वह प्रथम भारतीय महिला बनी जिनकी ईराकी आर्टिस्ट सालिम मो. आमिड ने विशेष कलाकृति बनायी। इस आर्ट पर आकांक्षा सक्सेना ने कहा कि यह सिर्फ़ मेरी आर्ट नहीं यह मेरे प्रत्येक भारतीय लेखक का सम्मान है।]
बता दें कि ईराकी आर्टिस्ट सलीम मो. अमिड नेे जब आकांक्षा सक्सेना के विश्व शांति और मानवता पर प्रकाशित लेख पढ़े तो वह गदगद हो गया और उन्होंने आकांक्षा से सम्पर्क किया।
जब भारतीय लेखक आकांक्षा सक्सेना ने ईराकी आर्टिस्ट से पूछा कि आप एक कलाकार हैं विश्व शांति और मानवता की सेवा और सहयोग की दिशा में भारत सहित विश्व को क्या संदेश देना चाहेगें? तो इन ईराकी आर्टिस्ट सलीम ने कहा कि ''शांति आपके हाथ में है, हमारे प्रयासों में हैं''। इसके बाद सलीम ने भारत की लेखक व पत्रकार ब्लॉगर आकांक्षा सक्सेना से पूछा कि भारत शब्द की संक्षेप में क्या परिभाषा हो सकती है? तो आकांक्षा सक्सेना ने गर्व से कहा हे! मेरे ईराकी भाई सलीम मो. अमिड जी भारत को शब्दों में व्यक्त नहीं किया जा सकता फिर भी आप पूछते हैं तो यही कहूंगी कि भारत का मतलब है शाश्वत प्रेम। भारत में अनेकों धर्म, अनेकों संस्कृतियां, अनेकों जनजातियां, अनेकों पंथ, अनेको बोलियां, अनेकों भाषाएं, अनेकों विभिन्नताएं एक साथ रहतीं हैं सिर्फ़ प्रेम से। भारत के मूल में प्रेम और मानवता है। हमारे देश का महान गौरवशाली इतिहास रहा है कि भारत ने कभी किसी देश से स्वंय से युद्ध नहीं किया। भारत ने इस भयानक कोरोना काल में विश्व के तमाम देशों में दवा भेजी है और सम्पूर्ण विश्व दवा देने वाले का आदर करता है। यह है हमारा भारतवर्ष। आप भारत आयें और आकर भारत को जियें और महसूस करें। आपकी बेजोड़ कला का भारत में स्वागत है।
बता दें कि यह ईराकी कलाकार लकड़ी, मोम, तार, तांबे, प्लास्टिक आदि धातुओं पर अपनी कलाकारी के लिए पूरे ईराक में प्रसिद्ध है। उन्होंने अपनी शिक्षा तुर्की में पूरी की और ईराक सहित उन्हें अंतरराष्ट्रीय स्तर के करीब 300 से अधिक राष्ट्रीय व अंतरराष्ट्रीय सम्मान व प्रमाणपत्र प्राप्त हैं जिन सम्मान के माध्यम से उन्होंने कई आभासी प्रदर्शनियों में भाग लिया। पेंच और तांबे के तार, कांच और काष्ठ कुछ अन्य शिल्प पर उत्कीर्णन में उन्हें महारथ प्राप्त है।सालिम मो. आमिड ने ब्लॉगर आकांक्षा सक्सेना की काष्ठ पर अग्निदहन प्रक्रिया से कलाकृति बनायी। बता दें कि इस आर्ट से आकांक्षा सक्सेना का ब्रावो इंटरनेशनल बुक ऑफ वर्ल्ड रिकार्ड(यूएई) में नाम दर्ज हुआ है।
ब्लॉगर आकांक्षा सक्सेना प्रथम भारतीय महिला बनी जिनकी ईराकी आर्टिस्ट सालिम मो. आमिड की काष्ठ पर अग्निदहन प्रक्रिया द्वारा विशेष कलाकृति बनायी। इस आर्ट पर आकांक्षा सक्सेना ने कहा कि यह सिर्फ़ मेरी आर्ट नहीं यह मेरे प्रत्येक भारतीय लेखक का सम्मान है। आकांक्षा सक्सेना ने ब्रावो बुक ऑफ वर्ल्ड रिकार्ड टीम को दिल से सम्मान सहित आभार और कृतज्ञता व्यक्त की है।
गौरतलब है कि आकांक्षा सक्सेना को पहले भी ब्रावो इंटरनेशनल बुक ऑफ वर्ल्ड रिकार्ड मिल चुका है। जब उन्होंने इंडोनेशिया के कुटई कीराजॉन किंग डाॅ. एचसी.एमएसपीए. लानस्याहरीशज़ा का भारत में पहला इंटरव्यू जोकि भारत के पौराणिक द्वापरकालीन इतिहास से जुड़ा है वह इंडोनेशिया से मगध को जोड़ने वाला जरासंध, पुष्पमित्र शुंघ से जुड़ता था जिसे सर्वप्रथम ब्लॉगर आकांक्षा सक्सेना ने कुटई कीराजॉन किंग इतिहास सहित भारतीय इतिहास को संरक्षित करने का एक सफल प्रयास किया था तब उनका नाम ब्रावो बुक ऑफ वर्ल्ड रिकार्ड,यूएई, और चोलन बुक ऑफ वर्ल्ड रिकार्ड, तमिलनाडु, ओएमजी वर्ल्ड रिकार्ड, मुम्बई में भी उनका नाम दर्ज हो चुका है। और उन्हें यह इतिहास लिखने वाली प्रथम भारतीय महिला ब्लॉगर पत्रकार होने पर बिहार (मगध) वर्ल्ड ऑफ रिकार्ड में भी शामिल कर लिया गया है।
https://www.bravoworldrecords.com/?p=1246
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